एस्ट्रोलाइट स्प्रिचुअल राजस्थान एकडेमी जयपुर (आसरा) द्वारा तृतीय अखिल भारतीय ज्योतिष महासेमिनार का आयोजन जयपुर में 3 से 4 मई को सम्पन्न हुआ। राजस्थान लघु उद्योग निगम के अध्यक्ष और कांग्रेस नेता राजीव अरोड़ा इस संगोष्ठी में मुख्य अतिथि के रूप में सम्मिलित हुए। इस अवसर पर सम्पूर्ण देश और प्रदेश से ज्योतिष विद्या के विद्वत जनों ने अपना सम्बोधन दिया।
राजीव अरोड़ा ने किया संबोधित
राजीव अरोड़ा ने कहा कि भारतीय संस्कृति का एक अत्यंत प्राचीन और गूढ़ क्षेत्र हस्तरेखा शास्त्र महत्वपूर्ण एक महत्वपूर्ण विषय है। ज्योतिष शास्त्र ने भारत के प्राचीन विज्ञान को समृद्ध बनाया है। यह आवश्यक है कि आज देश की वर्तमान पीढ़ी को हम अपने स्वर्णिम इतिहास के बारे में बताएं। हजारों वर्ष पहले के हमारे नक्षत्र विज्ञान और खगोल विज्ञान का महत्व आज भी बहुत प्रासंगिक है। फसलों की बुवाई का सही समय पता लगाने के लिए, ज्योतिष, सूर्य ग्रहण-चंद्र ग्रहण सहित अनेक घटनाओं की सही सही जानकारी हमें हमारे प्राचीन ग्रंथों से मिलती है।
प्रमाणिक संसाधन
हमारे वेदों में अनेक प्राकृतिक घटनाओं जैसे कि सितारों और ग्रहों की गति, सूर्य, चंद्रमा, पृथ्वी के बारे में सटीक जानकारी मिलती है। वेद और भारतीय संस्कृति को प्रामाणिक बताते हुए राजीव अरोड़ा ने कहा कि हमें अपने वेद, अपनी संस्कृति, शास्त्र और विज्ञान को गहराई से समझकर इनका सम्मान करना चाहिए, लेकिन इसी के साथ समाज में जो भ्रांतियाँ और कुप्रथाएं हैं, उनका विरोध भी करना चाहिए। आसरा के संस्थापक रमेश गुरु कुमावत ने पधारे समस्त ज्योतिषशास्त्रियों, अतिथियों एवं नागरिकों को धन्यवाद ज्ञापित किया।