चौक टीम, जयपुर। राजस्थान में लोकसभा चुनाव संपन्न हो चुके है, लेकिन प्रदेश के नेता लगातार एक-दूसरे पर लगातार हमला कर रहे है। ऐसे में गर्मी के साथ-साथ राजनीतिक पारा भी उछाल पर है। पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने शुक्रवार को भाजपा पर निशाना साधते हुए कहा था कि BJP की इन चुनावों में बुरी हालत होने का कारण कांग्रेस के ‘नॉन परफॉर्मिंग असेट’ कैटिगिरी के सैकड़ों नेताओं को अपनी पार्टी में शामिल करना रहा। भाजपा नेता राजेंद्र राठौड़ ने पलटवार करते हुए कहा कि ‘कांग्रेस एक डूबता जहाज है, जिसमें कोई भी राजनीतिक नेता सवार होकर अपने भविष्य को दांव पर नहीं लगाना चाहता।’
राजेंद्र राठौड़ ने इस तरह साधा निशाना
गहलोत साहब, कांग्रेस एक डूबता जहाज है जिसमें कोई भी राजनीतिक नेता सवार होकर अपने भविष्य को दांव पर नहीं लगाना चाहता। आप जिन नेताओं को “नॉन परफॉर्मिंग असेट” बता रहे हैं, कल तक वो आपकी ही पार्टी के लिए परफॉर्मिंग असेट हुआ करते थे। जितिन प्रसाद, ज्योतिरादित्य सिंधिया, अमरिंदर सिंह, गौरव वल्लभ, आचार्य प्रमोद कृष्णम एवं अशोक चव्हाण जैसे दर्जनों वरिष्ठ नेताओं को आपकी पार्टी ने दरकिनार किया।
इन नेताओं की वर्षों की तपस्या और मेहनत पर परिवारवाद हावी रहा। इन्हें भाजपा में वो सम्मान मिला, जिसके वे हकदार थे। 4 जून का इंतजार कीजिये, मैं दावे के साथ कह सकता हूं कि लोकसभा चुनाव 2024 के परिणामों के बाद सबसे बड़े “नॉन परफॉर्मिंग असेट” और लाइबिलिटी का तमगा आपकी पार्टी कांग्रेस और युवराज राहुल गांधी को ही मिलेगा। वैसे भी लंबे समय से राहुल गांधी कांग्रेस के साथ इंडी गठबंधन के लिए लाइबिलिटी बने हुए हैं।
गहलोत ने इनको बताया था ‘नॉन परफॉर्मिंग असेट’?
राजस्थान के पूर्व सीएम अशोक गहलोत ने कांग्रेस छोड़कर बीजेपी में शामिल होने वाले नेताओं पर निशाना साधा है। गहलोत ने ऐसे नेताओं को नॉन परफॉर्मिंग असेट तक कह दिया है। गहलोत ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर एक पोस्ट में लिखा, ‘BJP की इन चुनावों में बुरी हालत होने का एक कारण कांग्रेस के ‘नॉन परफॉर्मिंग असेट’ कैटिगिरी के सैकड़ों नेताओं को अपनी पार्टी में शामिल करना रहा। कांग्रेस से ऐसे नेताओं के बाहर जाने से कार्यकर्ताओं को अधिक मौका मिला और BJP पर ऐसे नेता लाइबिलिटी बने। जिससे उनका खुद का कार्यकर्ता निराश हो गया। अंहकार की अति BJP के पतन का कारण बन रही है।
पूर्ववर्ती सरकार में बने शिक्षण संस्थान हो शुरू
उन्होंने एक अन्य पोस्ट में वीडियो के साथ लिखा, JLN रोड, जयपुर पर बन रहे इन शैक्षणिक संस्थानों को देखकर बेहद संतुष्टि होती है कि हमारी सरकार के कार्यकाल में राजस्थान में बेहतरीन इंफ्रास्ट्रक्चर वाले संस्थान बने हैं, जो राजस्थान को नंबर 1 बनाने के मेरे लक्ष्य में शामिल है। यह महात्मा गांधी स्कूल ऑफ गवर्नेंस एंड सोशल साइंस है। जो पुणे के टाटा इंस्टीट्यूट ऑफ सोशल साइंसेज और MIT स्कूल ऑफ गवर्नमेंट के तर्ज पर चलेगा। मैं आशा करता हूं कि वर्तमान सरकार जल्दी ही इसकी औपचारिक शुरुआत कर हमारे युवाओं को यहां पढ़ने का अवसर देगी।